उत्तर प्रदेश सरकार ने निर्माण श्रमिकों के कल्याण के लिए संचालित 15 योजनाओं का लाभ मनरेगा मजदूरों को भी देने का फैसला किया है। यह लाभ उन मनरेगा मजदूरों को मिलेगा जिन्होंने एक साल में न्यूनतम 90 दिन मनरेगा के तहत काम किया होगा। ऐसे मजदूरों को आवास, शौचालय, पेंशन, चिकित्सा जैसी सुविधाएं मिलेंगी। कर्मकार कल्याण बोर्ड ने अपर आयुक्त (मनरेगा) से ऐसे मजदूरों की सूची मांगी है।
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Team Digital Education Portal
अपर आयुक्त मनरेगा योगेश कुमार ने बताया कि सचिव उत्तर प्रदेश भवन एवं अन्य सन्निर्माण कर्मकार कल्याण बोर्ड के पत्र के आधार पर एक वर्ष में 90 दिन और इससे अधिक काम करने वाले मनरेगा मजदूरों की सूची तैयार कराई जा रही है। ऐसे मजदूरों का पंजीकरण कल्याण बोर्ड में होगा। निर्माण कर्मकार कल्याण बोर्ड इस समय निर्माण श्रमिकों के लिए 15 योजनाएं चला रहा है। मनरेगा श्रमिकों का विवरण मनरेगा पोर्टल से कर्मकार कल्याण बोर्ड के पोर्टल पर ऑनलाइन भेजा जाना है।
मनरेगा मजदूरों को इन 15 योजनाओं का लाभ मिलेगा
कौशल विकास तकनीकी प्रमाणन एवं उन्नयन योजना, कामगार गंभीर बीमारी सहायता योजना, आवास सहायता योजना, शौचालय सहायता योजना, चिकित्सा सुविधा योजना, आवासीय विद्यालय योजना, महात्मा गांधी पेंशन सहायता योजना, सौर ऊर्जा सहायता योजना, मातृत्व शिशु एवं बालिका मदद योजना, कन्या विवाह सहायता योजना, संत रविदास शिक्षा सहायता योजना, मेधावी छात्र पुरस्कार योजना, निर्माण कामगार अंत्येष्टि सहायता योजना तथा निर्माण कामगार मृत्यु, विकलांगता सहयता एवं अक्षमता पेंशन योजना का लाभ बोर्ड में पंजीकृत मनरेगा मजदूरों को मिलेगा।
1.32 लाख जॉबकार्ड धारी परिवारों ने कर लिया है 100 दिन काम
मनरेगा के तहत इस वित्तीय वर्ष में अभी तक 1.32 लाख जाबकार्ड धारक परिवारों ने 100 दिन मनरेगा में काम कर लिया है। विभाग ने तय किया है कि 31 मार्च तक 20 लाख परिवारों को 100 दिन काम देने का लक्ष्य हासिल किया जाएगा। वर्तमान में करीब 20 लाख मनरेगा मजदूर विभिन्न कामों में लगे हुए हैं। जिन परिवारों में 100 दिन काम पूरा किया है उनमें से 90 दिन तक काम पूरा करने वालों की बड़ी तादाद होगी। 31 मार्च तक 90 दिन काम करने वालों की बड़ी संख्या हो जाने की उम्मीद है।