Current Affairs Hindieducation

कोरोना की तीसरी लहर अक्टूबर में संभव, बच्चों पर खतरा: रिपोर्ट

Covid third wave

नीति आयोग की तरफ से हाल ही में कोरोना वायरस के मामले बढ़ने को लेकर चेताया गया है. इसी के साथ ही अब गृह मंत्रालय के निर्देशन में गठित नेशनल इंस्‍टीट्यूट ऑफ डिजास्‍टर मैनेजमेंट (NIDM) के विशेषज्ञों की कमेटी ने भी बेहद चौंकाने वाली रिपोर्ट पेश की है.

उनके मुताबिक अक्‍टूबर में देश में कोरोना वायरस संक्रमण (Covid 19) चरम पर होगा. तब ही कोरोना की तीसरी लहर भी संभव है. तीसरी लहर के दौरान बच्‍चों पर अधिक खतरा होने की आशंका है. नीति आयोग के सदस्‍य वीके पॉल की प्रमुखता वाले समूह ने पिछले महीने सरकार को सुझाव दिए थे कि यदि भविष्‍य में कोविड 19 के मामले बढ़ते हैं तो प्रति 100 मामलों में 23 मामलों में अस्‍पताल में भर्ती कराने की जरूरत पड़ेगी.

पीएमओ को सौंपी गई रिपोर्ट में डॉक्टरों ने क्या कहा?

केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा गठित एक समिति ने कहा है कि कोरोना वायरस (कोविड -19) बीमारी की तीसरी लहर अक्टूबर के आसपास अपने चरम पर पहुंच सकती है. ये बच्चे वयस्कों की तरह गंभीर रूप से प्रभावित कर सकती है. प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) को सौंपी गई अपनी रिपोर्ट में, समिति ने डॉक्टरों, कर्मचारियों और वेंटिलेटर और एम्बुलेंस जैसे उपकरणों सहित बाल चिकित्सा सुविधाओं की गंभीर आवश्यकता के बारे में बात की है.

टीकाकरण अभियान को प्राथमिकता

रिपोर्ट में विशेषज्ञों ने अन्य बीमारी वाले बच्चों और विशेष आवश्यकता वाले बच्चों के लिए वायरस के खिलाफ टीकाकरण अभियान को प्राथमिकता देने के बारे में भी लिखा है.

ZyCoV-D वैक्सीन को मंजूरी

देश के दवा नियामकों ने 12 वर्ष से अधिक उम्र के बच्चों के लिए Zydus Cadila के ZyCoV-D वैक्सीन को मंजूरी दे दी है. यह अभियान अभी शुरू होना बाकी है. इससे पहले, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडवीय ने संकेत दिया था कि बच्चों को सितंबर से वायरस के खिलाफ वैक्सीन की खुराक मिलनी शुरू हो सकती है.

कोविड-19 की दूसरी लहर के बाद

कोविड-19 की दूसरी लहर के बाद बड़ी संख्या में अस्पताल के बेड को अलग स्‍तर से निर्धारित करने की सिफारिश इस साल अप्रैल-जून में देखे गए पैटर्न पर आधारित है. कथित तौर पर अपने चरम के दौरान 1 जून को जब देश भर में सक्रिय केस लोड 18 लाख था तब 21.74 प्रतिशत केस में अधिकतम मामलों वाले 10 राज्यों में अस्पताल में भर्ती होने की आवश्यकता पड़ी थी. इनमें से 2.2 प्रतिशत लोग आईसीयू में भर्ती थे.

Join whatsapp for latest update

नीति आयोग ने क्या कहा?

नीति आयोग का कहना है कि और भी बदतर हालात के लिए हम लोगों को तैयार रहना चाहिए. आयोग ने एक दिन में 4 से 5 लाख कोरोना केस का अनुमान लगाया है. इसके साथ ही कहा है कि अगले महीने तक दो लाख आईसीयू बेड तैयार किए जाने चाहिए. इनमें वेंटिलेटर के साथ 1.2 लाख आईसीयू बेड, 7 लाख बिना आईसीयू अस्पताल के बेड (इनमें से 5 लाख ऑक्सीजन वाले बेड) और 10 लाख कोविड आइसोलेशन केयर बेड होने चाहिए.

Join telegram
Show More

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button

Please Close Ad Blocker

हमारी साइट पर विज्ञापन दिखाने की अनुमति दें लगता है कि आप विज्ञापन रोकने वाला सॉफ़्टवेयर इस्तेमाल कर रहे हैं. कृपया इसे बंद करें|