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Madhya Pradesh Employee News: पेंशन प्रकरण दो महीने से ज्यादा रोका तो अधिकारी पर अर्थदंड लगाने की तैयारी Digital Education Portal
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Madhya Pradesh Employee News: पेंशन प्रकरण दो महीने से ज्यादा रोका तो अधिकारी पर अर्थदंड लगाने की तैयारी Digital Education Portal

Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश सिविल सेवा पेंशन नियम में संशोधन करेगी सरकार, बनाई समिति।

Madhya pradesh news: पेंशन प्रकरण दो महीने से ज्यादा रोका तो अधिकारी पर अर्थदंड लगाने की तैयारी
राज्य कर्मचारी आयोग से भी पेंशन संचालनालय ने मांगे सुझाव

Madhya Pradesh News: भोपाल (राज्य ब्यूरो)। मध्य प्रदेश सरकार पेंशन से जुड़े नियमों में बदलाव करने जा रही है। अब सेवानिवृत्त होने के तत्काल बाद किसी अधिकारी या कर्मचारी के पेंशन प्रकरण को अंतिम रूप देने में विलंब हुआ तो संबंध‍ित अध‍िकारी से अर्थदंड वसूला जाएगा। अभी पेंशन प्रकरण को अंतिम रूप देने में तीन-चार महीने लग जाते हैं। इस अवध‍ि में कर्मचारी परेशान होता रहता है।

इस समस्या को दूर करने के लिए सरकार ने समिति बनाई है। इसमें कर्मचारी संगठनों के अध्यक्षों को शामिल किया गया है। उधर, पेंशन भविष्य निध‍ि एवं बीमा संचालनालय ने राज्य कर्मचारी आयोग से भी सुझाव मांगे हैं। प्रदेश में प्रतिवर्ष औसतन डेढ़ हजार अध‍िकारी कर्मचारी सेवानिवृत्त होते हैं।

नियमानुसार पेंशन प्रकरण को सेवानिवृत्त होने के पहले ही अंतिम रूप दे दिया जाना चाहिए पर ऐसा होता नहीं है। संबंध‍ित विभाग कोषालय को सेवा पुस्तिका भेजते हैं, जहां वेतन निर्धारण संबंधी सत्यापन होता है। इसके बाद विभाग संभागीय पेंशन कार्यालय को प्रकरण भेजते हैं। इसमें तीन से चार माह का समय लग जाता है।

इस विलंब के लिए अभी किसी की जिम्मेदारी तय नहीं होती है और न ही संबंध‍ित अध‍िकारी को दंडित किया जाता है। इस समस्या के समाधान के लिए पेंशन, भविष्य निध‍ि एवं बीमा संचालनालय ने नियम में संशोधन के लिए समिति गठित की है। इसमें राजपत्रित अध‍िकारी संघ के अशोक शर्मा, लघुवेतन कर्मचारी संघ के महेन्द्र शर्मा और पेंशनर्स एसोसिएशन मध्य प्रदेश के अध्यक्ष श्याम जोशी को सदस्य बनाया है।

इनसे मध्य प्रदेश सिविल सेवा (पेंशन) नियम 1976 के प्रचलित प्रविधानों को सरल करने के लिए सुझाव मांगे गए हैं। साथ ही राज्य कर्मचारी आयोग से भी कहा गया है कि वह इस संबंध में कर्मचारी संगठनों से चर्चा करके अभिमत दे। संचालक पेंशन, भविष्य निध‍ि एवं बीमा जेके शर्मा ने बताया कि पेंशनरों की सुविधा के लिए कई कदम उठाए जा चुके हैं।

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अब पेंशन प्रकरण को अंतिम रूप देने की प्रक्रिया को सरल बनाया जा रहा है। सभी से विचार-विमर्श कर प्रतिवेदन वित्त विभाग को सौंपा जाएगा। अविवाहित पुत्रियों के लिए आयु का बंधन समाप्त करने की मांग पेंशनर्स एसोसिएशन मध्य प्रदेश के वरिष्ठ उपाध्यक्ष गणेश दत्त जोशी ने कहा कि पेंशन नियमों में अविवाहित पुत्री को अभी 25 वर्ष तक ही पेंशन मिलती है। इस आयु बंधन को समाप्त किया जाना चाहिए।

साथ ही पेंशनर की महंगाई राहत (डीआर) भी कर्मचारियों के महंगाई भत्ता में वृद्धि के साथ बढ़ाने की व्यवस्था सुनिश्चित होनी चाहिए। अभी पेंशनर को छत्तीसगढ़ की सहमति का इंतजार करना पड़ता है, जबकि केंद्र सरकार आपसी सहमति से इस प्रविधान को खत्म करने दोनों राज्यों को पत्र लिख चुकी है.

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